आचार संहिता में सरपंच की भाईगिरी

बटली घाट में रेत के नाम पर अवैध वसूली
(Anil Tiwari+91 88274 79966)
शहडोल। जिले के बुढ़ार तहसील के जरवाही ग्राम में सोन नदी के बटली घाट में बेदस्तूर रेत का खनन जारी है, रोजाना आधा सैकड़ा वाहन रेत लेने के लिए यहां पर पहुंचते हैं, पुलिस के संरक्षण में फलफूल रहा यह कारोबार माफियाओं ने अपने कब्जे में कर लिया है। वाहनों से प्रति चक्कर के हिसाब से राशि वसूल की जाती है, हत्या के मामले में आरोपी सरपंच उर्फ अमित निवासी बुढ़ार के अलावा भल्लू और ललुआ के द्वारा अवैध वसूली की खुली दुकान संचालित की जा रही है। यह कारनामा कोई नया नहीं है, इसमें वर्दीधारियों का भी संरक्षण है, लेकिन अब नवीन पद्धति से अब पूरे काम को अंजाम दिया जा रहा है।
तय हैं रेत के रेट
बटली घाट में रेत लेने आने वाले ट्रैक्टरों से 300 रूपये और डग्गी से 400 रूपये प्रति चक्कर वसूल किये जाते हैं, रोजाना हजारों रूपये की अवैध वसूली की जा रही है, इसमें से कुछ हिस्सा वर्दीधारियों को भी पहुंचता है, अर्साे से जरवाही के बटली घाट में रेत का अवैध खनन किया जा रहा है, जिसमें माफियाओं का संरक्षण हैं। अचरज की बात यह है कि आम चुनाव के लिए आचार संहिता प्रभावशील है, बावजूद इसके खुलेआम गुण्डा टैक्स और वसूली की जा रही है, इस बात से अंदाजा लगाया जा सकता है कि चुनाव को लेकर प्रशासन और पुलिस कितने संजीदा हैं।
सरपंच कर रहा वसूली
बटली घाट में रेत की वसूली करने वाला कोई पंचायत का सरपंच नहीं है, बल्कि ट्रांसपोर्ट नगरी का एक अपराधी है, जिसका नाम अमित उर्फ सरपंच है, जो हत्या के मामले में भी आरोपी है, उसके द्वारा खुलेआम अवैध वसूली की जा रही है, वहीं पुलिस चुनाव के दौरान वारंटियों की धरपकड़ और अपराधियों के खिलाफ कार्यवाही की ताल ठोक रही है, लेकिन बुढ़ार में इसका असर होता दिखाई नहीं दे रहा है, बीते कुछ दिनों में बुढ़ार की कानून व्यवस्था पर कई सवाल खड़े हुए हैं, गोलीकाण्ड, डकैती की योजना और कई हत्याएं भी हुई है, बावजूद इसके पुलिस अभी भी हाथ पर हाथ रखे बैठी है, शायद बड़ी घटना के बाद ही पुलिस जागेगी।