जिले में 14 मई को नेशनल लोक अदालत का होगा आयोजन , 24 खंडपीठ करेगी सुनवाई

जिले में 14 मई को नेशनल लोक अदालत का होगा आयोजन , 24 खंडपीठ करेगी सुनवाई


कटनी। जिले के समस्त न्यायालयों, राजस्व न्यायालय एवं अन्य विभागों में 14 मई, 2022 को नेशनल लोक अदालत का आयोजन किया जाएगा। इसमें प्रकरणों का तेजी से निपटारा करने के लिए 26 खंडपीठ गठित की गई है। ये खंठपीठ प्रकरणों की तेजी से सुनवाई करके मामलों का निराकरण करेंगी। विधिक सेवा प्राधिकरण के आदेशानुसार नेशनल लोक अदालत आयोजित करने के लिए जिले में वृहत स्तर पर तैयारियां की जा रही हैं। लगातार बैठकें करके आवेदक पक्षकारों और क्लेम प्रकरणों का समझौतापूर्वक निराकरण करने पर विचार किया जा रहा है।
इस नेशनल लोक अदालत में प्रि-लिटिगेशन प्रकरणों में बैंकों के 3325, विद्युत के लंबित 500, जलकर संबंधी 500 एवं बीएसएनएल के 850 प्रकरण रेफर किए गए है। इसी प्रकार न्यायालयों के लंबित प्रकरणों में 391 आपराधिक प्रकरण, 330 एनआई एक्ट के प्रकरण, मोटर दुर्घटना के 680 प्रकरण, विद्युत के 500 प्रकरण, पारिवारिक न्यायालय के 210 प्रकरण, अन्य सिविल 107 प्रकरण एवं 180 अन्य प्रकरण रेफर किए गए हैं।
लोक अदालत में आपराधिक, सिविल, विद्युत अधिनियम, श्रम, मोटर दुघर्टना दावा, प्री-लिटिगेशन प्रकरण, निगोशिएबल इंस्टूमेंट के अंतर्गत चैक बाउन्स प्रकरण, पारिवारिक विवादों के प्रकरण, ग्राम न्यायालय, राजस्व न्यायालय, सहकारिता विभाग के प्री-लिटिगेशन के राजीनामा योग्य प्रकरणों का निराकरण किया जाएगा। इस लोक अदालत की सफलता के लिए प्राधिकरण से संबंधित पीएलव्ही एवं सामाजिक कार्यकर्ता प्रचार-प्रसार करते हुए महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। आम जनता से कहा गया है कि जिन लोगों के मामले न्यायालय में चल रहे हैं, संबंधित न्यायालय में एवं अपने अधिवक्ता से संपर्क स्थापित कर राजीनामा योग्य प्रकरणों में समझौते के आधार पर प्रकरण का निराकरण करवा सकते हैं। साथ ही छोटे एवं आपसी विवाद और मतभेद वाले मामले, जिनकी शिकायत संबंधित विभाग एवं न्यायालय तक अभी नहीं पहुंचा पाए हैं, ऐसे व्यक्ति भी संबंधित विभाग या न्यायालय में प्री-लिटिगेशन के माध्यम से आवेदन दे सकते हैं। इस नेशनल लोक अदालत में लोकोपयोगी सेवाओं से संबंधित प्रकरण/आवेदन (जैसे- दूरसंचार, नगर निगम, विद्युत, पोस्ट-ऑफिस) आदि प्रकरणों का निराकरण किया जाएगा। इसके पीठासीन अधिकारी जिला न्यायाधीश/अध्यक्ष लोकोपयोगी सेवा, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी एवं कार्यपालन यंत्री सदस्य होते हैं। पक्षकारगण लोकोपयोगी सेवाओं से संबंधित प्रकरणों के भी अधिक से अधिक संख्या में आवेदन प्रस्तुत कर सकते हैं।

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